मेरा आठवाँ प्रकाशन / MY Seventh PUBLICATIONS

मेरा आठवाँ प्रकाशन  / MY Seventh PUBLICATIONS
मेरे प्रकाशन / MY PUBLICATIONS. दाईं तरफ के चित्रों पर क्लिक करके पुस्तक ऑर्डर कर सकते हैंं।

बुधवार, 11 मई 2016

अपना जहाँ.

अपना जहाँ.


ये दौलत ,ये शान, ये बंगला , ये कार,
नहीं है चाह जहाँ में कुछ भी मिले मुझे,
बस एक कसक सी रही जिंदगी में हरदम ही, 
तुम्हारा प्यार जहाँ में मुझे मिले न मिले.


न जाने कितने जज्बात लिए,
दिल में हमेशा फिरती हो,
नयन तो कहते ही जाते हैं,
जुबाँ खुले न खुले.


चलूँगा संग तुम्हारे,
मिला कदम से कदम,
तुम्हें भी प्यार है मुझसे,

बस ये 'करार मिले.


उदास रातों में तेरी,
यादें सँजोए जीता था,
खुशी जहाँ की थी,
किसी को हमसे प्यार तो है.


तुम्हारे नयनों में आँसू भरे रहे फिर भी,
आई लबों पे सदा मस्कुराहट ही,
कि मेरा साथ मिला,
जमाना भले मिले न मिले.


उकेर लूँगा एक नया जहाँ,
मैं हमारे लिए,
तुम साथ तो दो,
भले खुदा न संग चले.
---------------------------------------------------

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

Thanks for your comment. I will soon read and respond. Kindly bear with me.